Shayari Sukun Presents
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बिछड़ गया जो उसे भुलाने में ज़माने लगे हैं जिन्हें नहीं अहसास मेरा, वो याद आने लगे हैं.. मुझ से होती थी जिन की महफिलों में रौनकें यहीं थे कल सब आज दूर जाने लगे हैं.. -Moeen
उन्हें जो दिलाए याद वादे उन्हीं के कल के पहले वो मुस्कुराए, फिर बोले ये संभल के.. दोस्ती को इश्क समझने की खता तुमने की अब काटो यूँ ही रातें करवटे बदल बदल के.. -Moeen
चेहरा जो देखूँ आईना मुझ से खफा लगे तेरे बगैर हरजाई जीना मुझे एक सज़ा लगे.. दास्तानों में राँझा, मजनू, फरहाद की मुझे इश्क में नाकाम एक एक चेहरा अपना लगे.. -Moeen
खोए रहते हैं बाद तुम्हारे अकसर सपनों में निशाँ का तील के करते हैं तलाश अपनों में.. ज़माना चाल ये कयामत की चल चूका हैं हम कुछ ढूँढ़ते हैं, बीते वक्त के पन्नों में.. -Moeen
वक्त के हाथों हर चेहरे से नकाब हटाया गया बहोत सोच कर ज़िक्र मेरा दास्ताँ से मिटाया गया.. क त्ल कर के मेरी हसरतों का यहाँ सरे आम का तील अपनी हसरतों का मुझे ही ठहराया गया.. -Moeen
हाल-ए-दिल हम कभी उन्हें सुना न सके उसके बाद फिर हम किसी को चाह ना सके.. मिले वो जो सरे शाम राह में तो फिर ऐसे मिले नज़र से की बात दिल की मगर लब हिला ना सके.. -Moeen
आते हैं कुछ लोग जिंदगी में हमारी, खुशबू की तरह.. महसूस है होते, फिर भी बिखर जाते हवाओं की तरह.. -Sagar shayarisukun.com
मोहब्बत में उनकी खुद को भी भूल चुके बात यह हम दिल में दबाना भूल चुके.. प्यार है उनसे बताया सभी को बस, बताना एक उन्हीं को हम भूल चुके.. -Sagar
उदास मौसम, बिखरी फ़िज़ाए, बेरंग सी हवाएँ.. कई बातों पर इलज़ाम लगा तेरे रूठने के बाद.. Swipe up to Listen to this
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-: Gam bhari shayari :-
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शायरियां पढ़ने के लिए शुक्रिया!